पंजाब में राजमार्ग परियोजनाओं को लेकर केंद्र और प्रदेश सरकार में घमासान जारी है।
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बुधवार को पंजाब में कानून व्यवस्था को लेकर केंद्र की आलोचना की। सीएम मान ने आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य में राजमार्ग परियोजनाओं को बंद करने की चेतावनी दी गई है।
सीएम भगवंत मान ने केंद्र में सत्तारूढ़ सरकार से भाजपा शासित उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति का ध्यान रखने को कहा। मान ने संकेत दिया कि भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) द्वारा किसानों को दिया गया मुआवजा “अपर्याप्त” है, जिसके कारण वे राजमार्ग परियोजना के लिए जमीन देने से कतरा रहे हैं।
‘आठ परियोजनाएं कर देंगे बंद’
मुख्यमंत्री केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के कड़े शब्दों वाले पत्र पर पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे, जिसमें उन्होंने पंजाब सरकार को चेतावनी दी थी कि यदि कानून व्यवस्था की स्थिति में सुधार नहीं हुआ तो वे आठ राजमार्ग परियोजनाओं को बंद कर देंगे।
मंगलवार को मान ने गडकरी को जवाबी पत्र लिखकर राज्य में सड़क परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया में देरी के लिए एनएचएआई को जिम्मेदार ठहराया। गडकरी के पत्र के बारे में पूछे जाने पर मान ने बुधवार को सवाल किया कि केंद्र ने कानून-व्यवस्था का मुद्दा क्यों उठाया।
हर बात पर कानून-व्यवस्था को बीच में ले आते हैं: मान
गडकरी द्वारा पत्र में कानून-व्यवस्था का मुद्दा उठाए जाने पर नाराजगी जताते हुए उन्होंने कहा, हमारे पास दो-तीन स्थानों पर भूमि से संबंधित मुद्दे हैं। किसानों और केंद्र के बीच भूमि अधिग्रहण की दर का मुद्दा है। कानून-व्यवस्था कहां से आई? हर मुद्दे पर वे कानून-व्यवस्था को बीच में ले आते हैं
मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले ढाई साल में पंजाब के किसी भी शहर या कस्बे में एक मिनट के लिए भी कर्फ्यू नहीं लगाया गया। उन्होंने कहा कि हरियाणा के नूंह में चार महीने तक कर्फ्यू लगा रहा। आप हमें बताएं कि कानून-व्यवस्था क्या होती है? आप यूपी में कानून-व्यवस्था का ख्याल रखते हैं।