रिश्वतखोरी के आरोपों के मामले पर अडानी ग्रीन एनर्जी की तरफ से एक पत्र लिखकर स्पष्टीकरण जारी किया है।
गौतम अडानी समूह के कुछ डायरेक्टर्स पर अमेरिका में अमेरिकी विदेशी भ्रष्ट आचरण अधिनियम (एफसीपीए) के उल्लंघन के कोई आरोप नहीं हैं।
डीओजे अभियोग में इस बात का कोई सबूत नहीं है कि अडानी के अधिकारियों ने भारतीय सरकारी अधिकारियों को रिश्वत दी थी। अभियोग और शिकायत केवल इस दावे पर आधारित है कि रिश्वत का वादा किया गया था या इस पर चर्चा की गई थी।
गौरतलब है कि समूह के कुछ निदेशकों (डायरेक्टर्स) यानी गौतम अडानी, सागर अडानी और विनीत जैन पर अभियोग में अमेरिकी विदेशी भ्रष्ट आचरण अधिनियम (एफसीपीए) के उल्लंघन का आरोप है।
ग्रुप का कहना है कि ऐसा कहना गलत हैं। अडानी ग्रीन इनर्जी की तरफ से स्टॉक एक्सचेंज को बुधवार को लिखे पत्र में यह जानकारी दी गई है।
ग्रुप ने कहा है कि गौतम अडानी, सागर अडानी और विनीत जैन पर अमेरिकी न्याय विभाग के अभियोग या अमेरिकी एसईसी की सिविल शिकायत में निर्धारित मामलों में एफसीपीए के किसी भी उल्लंघन का आरोप नहीं लगाया गया है।
एक्सवाईजेड ने कहा कि यह सब संभावना और एज़्योर पावर के पूर्व कर्मचारियों की सुनी-सुनाई बातों पर आधारित है।
वकील मुकुल रोहतगी की प्रतिक्रया
अमेरिकी अदालत में अडानी समूह के खिलाफ आरोपों पर पूर्व अटॉर्नी जनरल और सीनियर वकील मुकुल रोहतगी की प्रतिक्रया सामने आई है। उन्होंने कहा कि मैं अडानी ग्रुप के प्रवक्ता के तौर पर नहीं बात कर रहा हूं।
इस पूरे अभियोग में मैंने आपको 5 आरोपों के बारे में बताया, जिनमें से धारा 1 और 5 सबसे ज्यादा अहम हैं। दोनों में ही गौतम अडानी और उनके भतीजे सागर अडानी पर आरोप नहीं लगाए गए हैं।
आसान शब्दों में कहा गया कि पूरा मामला संभावना और एज्योर पावर के पूर्व कर्मचारियों की सुनी-सुनाई बातों पर आधारित है। कंपनी ने कहा कि न्याय विभाग, जिसमें 5 आरोप हैं अडानी ग्रुप के अधिकारियों पर आरोप का कोई उल्लेख नहीं है, यानी वह एफसीपीए का उल्लंघन करने के मामले में शामिल नहीं हैं।
अमेरिका की गलत कार्रवाई और लापरवाही से की गई झूठी रिपोर्टिंग की वजह से अडानी ग्रुप को काफी नुकसान पहुंचा है। अमेरिकी न्याय विभाग के अभियोग की सूचना के बाद से समूह को अपनी 11 कंपनियों के मार्केट केपीटलाइजेशन में लगभग 55 अरब अमेरिकी डॉलर का नुकसान हुआ है।
गलत जानकारी दी गई
एक्सचेंज फाइलिंग में, AGEL ने कहा है कि रिश्वतखोरी और भ्रष्टाचार को लेकर कई मीडिया हाउस ने अडानी अधिकारियों पर गलत जानकारी दी है।
रिपोर्ट्स, कंपनी ने अडानी के प्रमुख अधिकारी- गौतम अडानी, उनके भतीजे सागर अडानी और विनीत जैन पर लगे यूएस फॉरेन करप्ट प्रैक्टिसेज एक्ट के तहत रिश्वतखोरी और भ्रष्टाचार के आरोपों को खारिज कर दिया है।