पंजाब के ट्रांसपोर्ट विभाग की नालायकी कारण जनता परेशान हो रही है।
पिछले कई महीनों से स्मार्ट कार्ड बनाने वाली स्मार्ट कार्ड चिप कंपनी का टैंडर समय पूरा होने के कारण ड्राइविंग लाइसैंस और वाहन रजिस्ट्रेशन करवाने वालों को विभाग की नालायकी कारण खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। ड्राइविंग लाइसैंस का समय पूरा होने वाले लाइसैंसों को रिन्यू करने के लिए कोई भी अधिकारी समर्थ दिखाई नहीं दे रहा है। लाइसैंसों की तरीकें निकलने कारण लोगों को जुर्माने और चालान भुगतने पड़ रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि हजारों लोगों की फीस पहले से ही पाइपलाइन में है, लेकिन स्मार्ट चिप कंपनी का कार्यकाल समाप्त होने के कारण पंजाब परिवहन विभाग ने अभी तक किसी नई कंपनी को टेंडर अलॉट नहीं किया है। इससे यह भी आशंका है कि आम लोगों द्वारा दी जाने वाली फीस डूब जाएगी।
राज्य में पिछले 2 महीनों से ट्रांसपोर्ट विभाग का चिप कंपनी वाला काम ठप्प हुआ पड़ा है। जबकि सरकार और ट्रांसपोर्ट विभाग को पहले ही पता था कि स्मार्ट चिप कंपनी का समय पूरा होने वाला है। फिर भी टैंडर प्रक्रिया शुरू ना होने के कारण विभाग की नालायकी नजर आती है। चाहे स्मार्ट कार्ड के रुके काम के लिए उच्च अधिकारी जिम्मेवार है पर इस देरी के लिए लोगों को खुद हर रोक अपने काम छोड़ कर स्थानीय आर.टी. ओ./ आर.टी.ए. दफ्तरों के चक्कर लगाने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है।
वाहन पंजीकरण का काम भी ठप्प